विमला बाथम द्वारा दीप प्रज्वलन के साथ लीला का शुभारंभ
नोएडा:EROS TIMES: श्रीराम मित्र मण्डल द्वारा आयोजित रामलीला मंचन सेक्टर-62 के तीसरे दिन मुख्य अतिथि उतर प्रदेश महिला आयोग अध्यक्ष विमला बाथम द्वारा दीप प्रज्वलन के साथ लीला का शुभारंभ हुआ। श्रीराम मित्र मंडल रामलीला समिति के अध्यक्ष धर्मपाल गोयल एवं महासचिव मुन्ना कुमार शर्मा द्वारा मुख्य अतिथि को स्मृति चिन्ह प्रदान किया और अंगवस्त्र ओढ़ाकर स्वागत किया गया । जनकपुर में धनुष यज्ञ की बात सुनकर प्रभु राम मुनि विश्वामित्र के साथ रास्ते में जाते हैं इसी बीच एक आश्रम दिखाई दिया जिसमें पशु पक्षी व जीव जन्तू नहीं थे। भगवान राम ने पत्थर की शिला देखकर विश्वामित्र जी से पूछा, विश्वामित्र ने पूरी कथा राम जी को बताई कि यह शिला गौतम मुनि की पत्नी हैं जो श्राप वश पत्थर की देह धारण किये है। श्रीराम जी के पवित्र चरणों की रज का स्पर्श पाते ही अहिल्या प्रकट हो जाती हैं एवं भगवान के चरणों में लिपट जाती है और कहती हैं‘‘ मैं नारि अपावन प्रभु जगपावन रावन रिपु जनसुखदायी। राजीव विलोचन, भवभय मोचन पाहि पाहि सरनहिं आई’’। ऐसी प्रार्थना कर अहिल्या पति लोक को चली जाती हैं। अगले दृश्य में मुनि विश्वामित्र के साथ चलते-चलते जनकपुर के निकट पहुंच जाते हैं। विश्वामित्र के आगमन का समाचार सुनकर राजा जनक उनके पास पहुंचते हैं मुनि को प्रणाम कर जब दोनों भाईयों को देखते हैं‘‘ मूरति मधुर मनोहर देखी। भयहु बिदेहु बिदेहु बिसेषी’’। मुनि जी राम लक्ष्मण का परिचय देते हैं। लक्ष्मण के हृदय में जनकपुर देखने की लालसा होती हैं भगवान राम मुनि से आज्ञा लेकर जनकपुर को देखने चले जाते हैं। लौटकर संध्या वंदन कर सुबह पूजा के लिए गुरू से आज्ञा लेकर पुष्प लेने जाते हैं वहीं पर सीता जी पार्वती जी की पूजा के लिए आती हैं जब राम जी और सीता जी एक दूसरे को देखते हैं एकटक देखते रह जाते हैं सीता जी गिरिजा की पूजा करती हैं और मां से राम जी को पति के रूप में मांगती हैं‘‘ मन जाहि राचेउ मिलहि सोबर सहज सुन्दर सांवरों, करूना निधान सुजान सीलु सनेहु जानत रावरों’’। मां के गले में पड़ा हार टूटकर सीता जी के ऊपर गिरता है और मां प्रसन्न हो जाती हैं महाराजा जनक शतानंद जी को बुलाकर मुनि विश्वामित्र को आमंत्रण भेजते हैं ।मुनि विश्वामित्र राम लक्ष्मण के साथ धनुष यज्ञशाला देखने पहुँचते हैं जहाँ पर सीता का स्वयंबर होना है । सबसे सुंदर मंच पर राम लक्ष्मण को मुनि समेत जनक जी बैठाते हैं । सीता जी को जनक बुलाते हैं ,और बंदीजन जनक की प्रतिज्ञा को बताते हैं कि जो भी यज्ञशाला में रखे धनुष को तोड़ेगा उसी के साथ सीता का विवाह होगा । रावण ,बाणासुर जैसे तमाम योद्धा आये लेकिन धनुष को हिला तक नहीं सके । यह देखकर जनक जी व्याकुल हो उठते हैं । इसके बाद जनक जी धनुष न टूटने पर विलाप कर कहते हैं कि लगता हैं अब पृथ्वी वीरों से खाली हो गई हैं। लक्ष्मण जी उनकी बात सुनकर क्रोध कर कहते हैं कि अगर भईया राम आज्ञा दे यह धनुष क्या पूरा ब्रह्माण्ड को तोड़-मरोड़ डालू। राम जी लक्ष्मण को शांत करते हैं। इसके बाद विश्वामित्र भगवान राम को आदेश देते हैं‘‘ उठहु राम भंजहु भव चापा। मेटहु तात जनक परितापा’’। भगवान राम धुनष की प्रत्युन्चा चढ़ाते हैं कि धनुष टूट जाता हैं सभी जनकपुर वासियों में खुशी दौड़ जाती हैं सीता जी राम को वरमाला डालती हैं।सुर नर मुनि व् देवता फूलों की वर्षा करते हैं । शिव धनुष के टूटने की बात सुनकर परशुराम जी आते हैं और जनक जी को कहते हैं हे दुष्ट धनुष किसने तोड़ा है इसके बाद लक्ष्मण व परशुराम का संवाद होता हैं। बाद में परशुराम जी को ज्ञात हो जाता हैं कि राम और कोई नहीं साक्षात विष्णु का अवतार हैं और वह क्षमा मांगते हुए कहते हैं‘‘ अनुचित बहुत कहेहु अज्ञाता। छमहु छमा मन्दिर दोउ भ्राता’’। क्षमा के बाद परशुराम जी महेंद्र पर्वत पर लौट जाते हैं। इसी के साथ तीसरे दिन की लीला मंचन का समापन होता है। श्रीराम मित्र मंडल के मीडिया प्रभारी चंद्रप्रकाश गौड़ ने बताया कि 13 अक्टूबर को राम बारात शोभा यात्रा जनक जी द्वारा राम बारात स्वागत, राम जानकी विवाह, जानकी विदाई आदि प्रसंगों का मंचन किया जायेगा । इस अवसर पर संस्थापक अध्यक्ष बी0पी0 अग्रवाल, मुख्य यजमान उमाशंकर गर्ग, मुख्य संरक्षक ओंकारनाथ अग्रवाल, अध्यक्ष धर्मपाल गोयल, महासचिव मुन्ना कुमार शर्मा, उपमुख्य संरक्षक ओमबीर शर्मा, कोषाध्यक्ष राजेन्द्र गर्ग, सह – कोषाध्यक्ष अनिल गोयल, सत्यनरायण गोयल, तरुण राज, मनोज शर्मा, डॉ ए के त्यागी, मुकेश गोयल, मुकेश गुप्ता, संजय शर्मा, पंकज कुमार, रविन्द्र चौधरी, आत्माराम अग्रवाल, मीडिया प्रभारी चंद्रप्रकाश गौड़, मुकेश सिंघल, चक्रपाणि गोयल, मुकेश गर्ग, एस एम गुप्ता, गौरव मेहरोत्रा, पवन गोयल,मुकेश अग्रवाल, राजकुमार गर्ग, यशवीर त्यागी, विजय भारद्वाज, अनुज गुप्ता, सुधीर पोरवाल, राकेश गुप्ता,अजय गुप्ता, रामनिवास बंसल, ओ पी गोयल,कुलदीप गुप्ता, चंद्रप्रकाश गौड़, अविनाश सिंह सहित आयोजन समिति के पदाधिकारी व सदस्य उपस्थित रहे।